Breaking News

मधुबनी :- कोरोना संक्रमित मरीजों का उपचार एवं कांटेक्ट ट्रेसिंग अत्यंत महत्वपूर्ण

कोरोना संक्रमित मरीजों का उपचार एवं कांटेक्ट ट्रेसिंग अत्यंत महत्वपूर्ण

•जिले में 3 लाख से अधिक लोगों का हुआ टीकाकरण
•जिले में पॉजिटिव मरीजों की संख्या 2898

मधुबनी,6 मई। कोरोना वायरस से लड़ाई में कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग सबसे ज्यादा अहम है। जिससे न सिर्फ वायरस से संक्रमित लोगों का पता लगाया जा रहा है, बल्कि ऐसे लोग जो संक्रमित के संपर्क में आये हैं, उनकी खोज भी की जा रही है। इसी कड़ी में स्वास्थ्य विभाग के बीएचएम प्रभात रंजन मिश्रा ,केयर इंडिया के अमित कुमार विपुल तथा यूनिसेफ के चंचल कुमार के द्वारा शहर के संकट मोचन कॉलोनी में कांटेक्ट ट्रेसिंग, सैम्पलिंग तथा दवा का वितरण किया गया। विपुल ने बताया होम आइसोलेशन में रह रहे मरीजों को फील्ड विजिट के दौरान हाथ धोने, गंभीर स्थिति में कोविड केयर सेंटर की जानकारी, तथा 104 नंबर पर कॉल कर विस्तृत जानकारी की सलाह देते हैं। सहयोगी संस्था तथा स्वास्थ्य विभाग के द्वारा जिले के सभी प्रखंडों में संक्रमित लोगों के संपर्क में आए लोगों की जांच कर कोविड संक्रमण का पता लगाया जा रहा है। वहीं जिले में वर्तमान में 2898 मरीज कोरोना से संक्रमित हैं। जिले में वैक्सीनेशन के तहत अब तक 3 लाख से अधिक लोगों का टीकाकरण किया जा चुका है।
क्या है कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग:
केयर इंडिया के डीटीएल महेंद्र सिंह सोलंकी ने बताया किसी संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने वाले लोगों की निगरानी प्रक्रिया को कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग कहा जाता है। कोरोना वायरस से संक्रमित किसी व्यक्ति के सम्पर्क में आने से ये संक्रमण दूसरों को आसानी से हो सकता है। संक्रमित व्यक्ति के सीधे संपर्क में आने वाले लोगों के संक्रमित होने की अधिक संभावना रहती है। इसलिए जो लोग संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आए हों उन्हें 14 दिन के लिए क्वॉरेंटाइन में रखा जाता है। कोरोना संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आए लोगों पर ध्यान रखना महत्वपूर्ण है, ताकि उनकी देखभाल की जा सके और जरूरत पड़ने पर जल्दी से उपचार किया जा सके।

कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग तीन प्रकार की होती है:
संपर्क की पहचान:
जब किसी व्यक्ति के वायरस से संक्रमित होने की पुष्टि हो जाती है तो बीमारी की शुरुआत के बाद से उसकी गतिविधियों के बारे में पूछकर उसके संपर्क में आए लोगों के बारे में जाना जाता है।

संपर्क सूची:
संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आने वाले सभी लोगों को सूचीबद्ध किया जाता है। उन्हें खुद आइसोलेट होने को कहा जाता और लक्षण आने पर मेडिकल टीम से संपर्क करने को कहा जाता है। संपर्क में आए लोगों को बीमारी की रोकथाम के बारे में भी जानकारी दी जाती है।

संपर्क में आए व्यक्ति का फॉलोअप:
संपर्क में आए सभी व्यक्तियों से स्वास्थ्य अधिकारी नियमित रूप से सपंर्क में बने रहते हैं। उनके लक्षणों पर निगरानी करते हैं कि कहीं उनमें वायरस के लक्षण तो नहीं आ रहे। कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग कोरोना वायरस को रोकने के लिए बहुत आवश्यक है।

इन मानकों का करें पालन, कोविड-19 संक्रमण से रहें दूर रहें :-
– मास्क का उपयोग और शारीरिक दूरी का पालन जारी रखें।
– लक्षण महसूस होने पर कोविड-19 जाँच कराएं।
– जरूरी नहीं हर सर्दी-खांसी कोरोना ही है, इसलिए, निर्भीक होकर सकारात्मक सोच के साथ कराएं जाँच।
– अधिक जरूरी पड़ने पर ही घर से बाहर निकलें ।
– घर में साकारात्मक माहौल बनाएं और रचनात्मकता कार्य करें।
– साफ-सफाई का विशेष ख्याल रखें और लगातार साबुन या अल्कोहल युक्त पदार्थों से हाथ धोएं।

Check Also

• आयुष्मान कार्ड बनाने को लेकर जिला में 20 नवम्बर से 10 दिसम्बर तक चलेगा विशेष अभियान  • 70 वर्ष से ऊपर के लोगों का सिर्फ आधार कार्ड से बनेगा आयुष्मान कार्ड 

🔊 Listen to this आयुष्मान कार्ड बनाने को लेकर जिला में 20 नवम्बर से 10 …