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जिले के पारा मेडिकल संस्‍थान में शुरू हुई पढ़ाई (चिकित्सा शिक्षा को लगेगा पंख, लाभान्वित होंगे लोग )

जिले के पारा मेडिकल संस्‍थान में शुरू हुई पढ़ाई

•चिकित्सा शिक्षा को लगेगा पंख, लाभान्वित होंगे लोग
•प्रथम दिन सिविल सर्जन ने वर्ग का किया संचालन
•33 छात्रों का हुआ है नामांकन, ईसीजी विधा की शुरू हुई पढ़ाई

मधुबनी
चिकित्सा शिक्षा जगत में जिला बड़ी छलांग लगाने की तैयारी में है। आत्मनिर्भर बिहार के सात निश्चय “अवसर बढ़े आगे बढ़े” के तहत तकनीकी शिक्षा के अवसरों को बढ़ाने के लिए जिले में संचालित सरकारी पारा मेडिकल संस्थानों में सर्टिफिकेट और डिप्लोमा कोर्स को मान्यता प्रदान की गई है। जहां पर कई सर्टिफिकेट और डिप्लोमा कोर्स संचालित किए जाएंगे। कार्यक्रम के तहत मेडिकल शिक्षा संस्थान पारा मेडिकल संस्थान रामपट्टी में 33 छात्रों का नामांकन 27 जून को किया गया । जिसमें 29 छात्र व 4छात्राएँ हैं । सभी छात्र / छात्राएं 2 वर्षीय डिप्लोमा कोर्स ईसीजी विधा के छात्र हैं । शनिवार को यहाँ शैक्षणिक सत्र की शुरुआत कर दी गई। प्रथम दिन वर्ग का संचालन सिविल सर्जन डॉ सुनील कुमार झा ने किया। इन सभी छात्रों का रहने तथा खाने के लिए मेस का संचालन भी शुरू कर दिया गया है। सिविल सर्जन डॉ. झा ने कहा कि स्वास्थ्य क्षेत्र में जिला में कई काम होना है। पारा संस्थान में पढ़ाई के साथ अस्पताल की कई सुविधा बढ़ाई जा रही है। चिकित्सकों की भी संख्या बढ़ायी जा रही है। उप स्वास्थ्य केंद्र तक को हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर बनाया जा रहा है। कोर्स पूरा करने वाले छात्रों को राज्य के अंदर ही रोजगार प्रदान करने के प्रयास किए जाएंगे। तकनीकी शिक्षा के बढ़ते महत्व और रोजगारप्रद होने के कारण विभाग द्वारा स्वास्थ्य क्षेत्र में तकनीक की आवश्यकता को देखते हुए पारा मेडिकल संस्थानों में अधिक से अधिक कोर्स शुरू किए जाएंगे । इनमें ईसीजी, एक्सरे, रेडियोलॉजी,ऑर्थोपेडिक एंड प्लास्टर मेडिकल ड्रेसर समेत कई प्रकार के कोर्स शामिल हैं। .सिविल सर्जन द्वारा उक्त छात्रों को प्रत्येक शनिवार को पढ़ाया जाएगा.

शैक्षणिक कार्य के लिए 3 चिकित्सकों की प्रतिनियुक्ति :

सिविल सर्जन ने बताया कार्यों के लिए तीन चिकित्सकों की प्रतिनियुक्ति की गई है। जिसमें डॉ निरंजन कुमार, डॉ संजीव कुमार, डॉ रामविलास यादव छात्रों को पढ़ाएंगे। .

ईसीजी टेक्निशियन इन विधा की दी जायगी जानकारी :

सिविल सर्जन ने बताया ईसीजी टेक्निशियन को कार्डियोग्रैफ़िक टेक्निशियन भी कहा जाता है। पढ़ाई के दौरान इन छात्रों को ईसीजी मशीन का इस्तेमाल करना,पेशेंट्स का हार्ट रेट्स मापना, कार्डियक रिदम को मॉनिटर करना, दिल और आर्टरीज में अनियमितताओं को खोजने में चिकित्सकों की मदद करना, अधिग्रहीत डेटा एकत्रित करना, रोगी की चिकित्सा की स्थिति पर नजर रखना और हृदय रोग विशेषज्ञों की सहायता करने की जानकारी दी जायगी ।

पैरामेडिकल स्टाफ का प्रमुख कार्य :-

•मरीज़ के उपचार के लिए डॉक्टरों और चिकित्सा की टीम के अन्य सदस्यों के साथ मिलकर काम करना।
•रोगियों को विशेषज्ञ देखभाल देना, विशेष क्षेत्रों में विशेष तकनीकी कर्तव्यों को निष्पादित करना, जैसे ऑपरेशन थिएटर आदि।
• सैम्पल प्राप्त करना,लेवल करना और विश्लेषण करना।
•मानक प्रक्रियाओं के अनुसार प्रयोगशाला परीक्षण को डिजाइन करना और निष्पादित करना।

मौके पर डॉक्टर निरंजन कुमार डॉ संजीव कुमार, डॉ रामविलास यादव, लैब टेकनीशियन इस्माहतुल्लाह उर्फ गुलाब सहित सभी छात्र उपस्थित थे.

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