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रिपोर्ट अजित सिंह

दरभंगा मिल्लत कॉलेज में शान से मना मौलाना आजाद जयंती देश – भक्ति तथा सांप्रदायिक सौहार्द के मसीहा थे मौलाना आजाद : प्रोफेसर विजय मिश्रा राष्ट्रीय शिक्षा दिवस के अवसर पर मिल्लत कॉलेज में आज एक समारोह का आयोजन किया गया। समारोह

मिल्लत कॉलेज में शान से मना मौलाना आजाद जयंती
देश – भक्ति तथा सांप्रदायिक सौहार्द के मसीहा थे मौलाना आजाद :
प्रोफेसर विजय मिश्रा

राष्ट्रीय शिक्षा दिवस के अवसर पर मिल्लत कॉलेज में आज एक समारोह का आयोजन किया गया। समारोह

रिपोर्ट अजित सिंह

की अध्यक्षता करते हुए कॉलेज के प्राचार्य प्रोफ़ेसर विजय मिश्रा ने राष्ट्रीय शिक्षा दिवस के महत्त्व को रेखांकित करते हुए देश के प्रथम शिक्षा मंत्री मौलाना अबुल कलाम आजाद की राष्ट्र निर्माण में भूमिका पर विस्तार से प्रकाश डाला।
प्रोफ़ेसर डॉक्टर विजय मिश्रा ने मौलाना आजाद को देशभक्ति तथा सांप्रदायिक सौहार्द का मसीहा बताते हुए कहा कि आज देश ने विभिन्न क्षेत्रों में खासकर शिक्षा के क्षेत्र में जो तरक्की की है उसमें मौलाना आजाद की भूमिका सर्वोपरि है।उन्होंने तमाम लोगों से मौलाना आजाद के आदर्शों से प्रेरणा लेने तथा जीवन में आगे बढ़ने की अपील की।
मुख्य वक्ता के रूप में समारोह को संबोधित करते हुए कॉलेज के वरीयतम शिक्षक तथा अंग्रेजी विभागाध्यक्ष प्रोफेसर डॉक्टर शहनाज बेगम ने कहा कि मौलाना आजाद न सिर्फ एक उत्कृष्ट विद्वान थे बल्कि देशभक्ति तथा राष्ट्र की सेवा की भावना उनके अंदर कूट-कूट कर भरी हुई थी। उन्होंने मौलाना आजाद के जीवन दर्शन की चर्चा करते हुए लोगों से उनसे प्रेरणा लेने की जरूरत पर बल दिया।
मिल्लत कॉलेज शिक्षक संघ के सचिव तथा भौतिकी विभागाध्यक्ष डॉक्टर महेश चंद्र मिश्र ने स्वतंत्रता आंदोलन में मौलाना आजाद की सक्रिय सहभागिता के साथ- साथ शिक्षा मंत्री के रूप में उनके योगदान की चर्चा करते हुए कहा कि देश के सभी तबकों को शिक्षित करना उनका उद्देश्य था, जिससे देश तेजी के साथ तरक्की कर सके।
गणित विभागाध्यक्ष अयाज अहमद ने आज के दिन को राष्ट्रीय शिक्षा दिवस के रूप में मनाए जाने के औचित्य पर प्रकाश डालते हुए कहा कि भारतवर्ष में जब भी शिक्षा तथा शिक्षा नीति की बात होगी तो मौलाना आजाद का नाम लिए बिना यह काम अधूरा ही रहेगा।
फारसी के विभागाध्यक्ष तथा कॉलेज के बर्सर डॉक्टर अताउर रहमान ने मौलाना आजाद की जीवनी पर प्रकाश डालते हुए उन्हें एक सच्चा मुसलमान बताया, जिन्होंने न सिर्फ देश को एकजुट रखने में अपनी भूमिका निभाई बल्कि मुसलमानों से भी एकजुट होकर भारत में ही रहने तथा यहीं पर अपना भविष्य तलाशने को प्रेरित किया।
डॉक्टर महेश चंद्र मिश्र के मंच संचालन में आयोजित इस समारोह को उर्दू विभाग की जेबा परवीन, राजनीति शास्त्र विभाग के डॉक्टर जमशेद आलम तथा डॉक्टर जोहा सिद्दीकी, मनोविज्ञान विभाग के डॉ राज किशोर पासवान आदि ने भी संबोधित किया।
उक्त अवसर पर डॉक्टर सिया राम प्रसाद, डॉ सोमा रानी कोले, डॉ सुनीता झा, डॉक्टर सोनी शर्मा, डॉक्टर कीर्ति चौरसिया, श्री हेमंत कुमार झा, डॉक्टर मोहम्मद रिजवान के साथ-साथ प्रीति पीटर, प्रदीप कुमार कर्ण सहित काफी संख्या में शिक्षक, शिक्षकेतर कर्मचारी तथा छात्र छात्राएं उपस्थित थे।

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